मुनिश्री देवेंद्र कुमार जी, तपोमूर्ति मुनि श्री पृथ्वीराज जी आदि ठाणा-4 के सान्निध्य में तेरापंथ भवन, भिवानी में आचार्य श्री तुलसी के जन्म दिवस का कार्यक्रम हर्ष उल्लास के साथ मनाया गया। मुनि श्री देवेंद्र कुमार जी ने अपने उद्बोधन में कहा कि आज का दिन विशेष दिन है गुरुदेव का जन्म दिवस हम अणुव्रत दिवस के रूप में मना रहे हैं गुरुदेव तुलसी ने अपना पूरा जीवन मानवता के कल्याण के लिए सौंप दिया। उनको भारत ज्योति की उपमा से भी उपमित किया गया। उनका जीवन अनूठा और अनुपमेय था। पूरे विश्व के कल्याण के लिए उन्होंने से सूदूर प्रांतो की भी यात्रा की। गांव व शहरों में घूम-घूमकर नैतिकता का शंखनाथ किया।
तपोमूर्ति मुनि श्री पृथ्वीराज जी ने अपने वक्तव्य में बताया कि आज के दिन दो-दो चांद का उदय हुआ आज हम गुरुदेव तुलसी को याद कर रहे हैं छोटी अवस्था में ही उनका मनोबल विराट था उन्होंने साधु साध्वियों के विकास के साथ-साथ श्रावक समाज का भी विकास किया। नया मोड़ के अंतर्गत नारी का उत्थान किया। अणुव्रत का सूत्रपात किया उनके जीवन में 11 का अंक बहुत ही महत्वपूर्ण रहा है। अपनी ओजस्वी वाणी में ’बधांवा बधांवा रे वंदना लाल ने’ गीत का सगांन किया कार्यक्रम का शुभारंभ भाइयों के मंगलाचरण द्वारा हुआ गुरुदेव तुलसी के जन्म दिवस के उपलक्ष में सभा अध्यक्ष सन्मति कुमार जैन, सभा के संरक्षक श्री सुरेंद्र जी जैन एडवोकेट, मानकचंद नाहटा, वनिता जैन आदि ने अपनी भावनाएं प्रस्तुत की अणुव्रत समिति के अध्यक्ष रमेश जी बंसल ने कार्यक्रम का संचालन किया।
इस अवसर पर विजय जैन, गोपाल जैन, नवीन नाहटा, विकास जैन, आत्म प्रकाश जैन, विजय राज जैन, टेकचंद जैन, देवी चन्द जी जैन, प्रेमलता जैन, आशा जैन, उषा जैन, प्रेक्षावाहिनि की सह-संयोजिका सुमन जैन, विजिया नाहटा आदि की सराहनीय उपस्थिति रही। जयघोष के साथ कार्यक्रम संपन्न हुआ।
