अणुव्रत विश्व भारती सोसायटी के तत्त्वावधान में मुनिश्री जिनेश कुमार जी ठाणा-3 के सान्निध्य में प्रेक्षा विहार मे अणुव्रत उद्बोधन सप्ताह का तृतीय दिवस अणुव्रत प्रेरणा दिवस कार्यक्रम का सफल आयोजन अणुव्रत समिति हावड़ा व कोलकता द्वारा आयोजित किया गया।
अणुव्रत प्रेरणा दिवस पर उपस्थित जनसमूह को संबोधित करते हुए- मुनिश्री जिनेश कुमार जी ने कहा कि व्रत जीवन को ऊंचाई तक ले जाना वाला तत्व है। व्रत वह जागरूक प्रहरी है जो जीवन में प्रविष्ट होने वाले अवांछनीय तत्वों का अवरोधक है। व्रत एक छत है जो वर्षा, गर्मी, प्रतिकूल परिस्थतियों से त्राण देने में सक्षम है। व्रत स्तम्भ है जिसके आधार पर चरित्र का भवन खड़ा हो सकता है। व्रत से व्यक्ति सीमा में आ जाता है। अनावश्यक हिंसा आदि से बच जाता है। अणुव्रत की साधना से जीवन शैली में बदलाव आता है। व्यवहार व चिन्तन भी स्वस्थ रहता है। व्यक्ति व्यवसाय मे प्रामाणिकता रखें। धोखाधड़ी बेईमानी अनैतिकता से कमाया हुआ धन शांति नहीं देता है। वस्तु में मिलावट के कारण कितनी बीमारियां बढ रही है। व्यक्ति लोभ में आकर मिलावट तो कर लेता है परंतु उसका परिणाम सुखद नही आता है। व्यक्ति का व्यवहार भी अच्छा होना चाहिए। माया शल्य कपट का भाव रखने वाला माप-नाप में अनियमितता करने वाला तिर्यंच योनि में पैदा होता है। इसलिए व्यक्ति अपनी जीवन शैली को स्वस्थ बनाए।
