Jain Terapanth News Official Website

ज्ञानशाला वार्षिकोत्सव का आयोजन : साउथ हावड़ा

Picture of Jain Terapanth News

Jain Terapanth News

श्री जैन श्वेतांबर तेरापंथी सभा, साउथ हावड़ा के निर्देशन में 22 मार्च, 2025 को साउथ हावड़ा ज्ञानशाला वार्षिकोत्सव का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ नमस्कार महामंत्र के संगान से हुआ। ज्ञानशाला के बच्चों ने अर्हम वंदना से मंगलाचरण किया। सभा के अध्यक्ष श्रीमान लक्ष्मीपत जी बाफना ने अपने अध्यक्षीय वक्तव्य में ज्ञानशाला का महत्व बताया। स्थानीय ज्ञानशाला संयोजक श्रीमान प्रदीप जी पुगलिया ने वृहत्तर कोलकाता एवं दक्षिण बंगाल की आंचलिक संयोजिका डॉक्टर प्रेमलता चोरडिया एवं उनकी टीम, सभा, महिला मंडल एवं तेयुप के सभी पदाधिकारीगण, प्रशिक्षिका बहनें, ज्ञानार्थी बच्चे एवं उपस्थित सभी अभिभावकों का स्वागत किया।
आंचलिक समिति के सदस्य श्रीमान संजय जी पारख ने संस्कारों का महत्व बताया। महिला मंडल अध्यक्ष श्रीमती चंद्रकांता पुगलिया ने अपने विचार रखे और बच्चों को संकल्प करवाया। सभा के मंत्री श्रीमान बसंत जी पटावरी ने बताया कि ज्ञानशाला क्यों आवश्यक है? आंचलिक सह-संयोजिका श्रीमती निधि जी कोचर ने बताया कि ज्ञानशाला स्कूल के बराबर ही इंपॉर्टेंट है। आंचलिक संयोजिका श्रीमती डॉ. प्रेमलता चोरड़िया ने साउथ हावड़ा ज्ञानशाला की सराहना की और बच्चों से कहा कि डिग्री से बड़े होते हैं संस्कार। शब्द हमारी ताकत है, तो शब्द हमारी कमजोरी भी है, हम शब्दों का विवेक रखें। उपस्थित सभी अतिथिगणों का दुपट्टा ओढ़ा कर सम्मान किया गया। सभी ज्ञानशाला के बच्चों ने अलग-अलग विषय पर प्रस्तुति दी। डॉ. प्रेमलता चोरड़िया ने सभी ज्ञानशालाओं की सार-संभाल की और सभी के रजिस्टर चेक किए। सम्मान के क्रम में सभी वरिष्ठ प्रशिक्षिकाओं का सम्मान किया गया। ज्ञानार्थी मनसा सेठिया जिसने जैन विद्या भाग 1 में राष्ट्रीय स्तर पर तृतीय स्थान प्राप्त किया और पूर्वज्ञानार्थी कौशल भंसाली जिसने सीए इंटर में 21वां रैंक प्राप्त किया, दोनों का सम्मान किया गया। वर्ष 2024 की शिशु संस्कार बोध परीक्षा के सर्टिफिकेट दिए गए एवं स्थानीय स्तर पर प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय को सम्मानित किया गया। सभा के उपाध्यक्ष श्रीमान मदन चंद जी नाहटा ने आभार ज्ञापन किया। कार्यक्रम का कुशल संचालन स्थानीय सह-संयोजिका श्रीमती पंकज दुगड़ ने किया। कार्यक्रम में आंचलिक संयोजिका डॉ. प्रेमलता चोरडिया और उनकी टीम, सभा एवं तेयुप के पदाधिकारी, 97 ज्ञानार्थी, 31 प्रशिक्षिकाएं और 25 अभिभावकों की उपस्थिति रही।

इस पोस्ट से जुड़े हुए हैशटैग्स